यदि छठ पर आप भी नहीं जा सकते घाट तो घर पर ऐसे करें पूजा

Highlights 25 अक्टूबर से हो रही छठ के नहाए- खाए पर्व की शुरुआत। छठ पर्व के लिए शुरू हुई गोबर के उपले, गेहूं सुखाने की प्रक्रिया। छठ पूजा में उपयोग की जाने वाली वस्तुओं में न करें प्लास्टिक की चीजों का इस्तेमाल।

पटना : छठ पूजा के लिए अब बहुत ही कम दिन रह गए है। ऐसे में तैयारियां भी शुरू हो चुकी है। कहीं गोबर का उपला (गोएठा) बनाकर सुखाया जा रहा है तो कहीं पर गेहूं सुखाए जा रहे हैं। लोक आस्था के इस महापर्व में शामिल होने अन्य प्रदेश से भी लोग बिहार आ रहे है। यही कारण है कि इस समय ट्रेनों में बहुत ज्यादा भीड़ देखने के लिए मिल रही है। यह पर्व बहुत ही शुद्धता एवं नियम के साथ मनाया जाता है। ऐसा कहा जाता है कि छठ व्रत की प्रक्रिया सबसे ज्यादा मुश्किल होती है।

ऐसे में नियम का बहुत ही ज्यादा ध्यान रखना होता है। वैसे तो आपने भी  छठ पूजा को हमेशा तालाब या नदी किनारे होते हुए देखा होगा। वहीं, छठ पूजा करने वालों की भीड़ भी होती है। लेकिन क्या आपने कभी यह सोचा कि जिनके घर के आस पास तालाब या नदी नहीं हो, वो क्या कर सकते हैं? क्या जिनकी तबीयत खराब हो गई है वो छठ घाट कैसे जा सकते है? या फिर जिनकी उम्र अधिक हो गई है वो कैसे इस भीड़ में शामिल हो सकते हैं?

घर पर इस तरह करें सूर्य देव की पूजा :

यदि आपको नहीं पता है तो चलिए जानते है कि छठ पूजा कैसे करें। शास्त्रियों एवं पंडितों के अनुसार, घर पर आप अपने छत या फिर आंगन में भगवान सूर्य को अर्घ्य दे सकते हैं। सूर्य देव को अर्घ्य देने के लिए आप एक सीमेंट का कुंड बना लें एवं उसमें पानी भरें। फिर आप उसमें खड़े होकर अर्घ्य दे पाएंगे। इसी के साथ स्विमिंग पूल भी आप बना सकते हैं, जिसमें आप अर्घ्य दे पाएं।

आंगन में जलकुंड बनाएं :

इसी तरह से आंगन में छठ व्रत कर अर्घ्य दें पाएंगे। यदि आंगन मिट्टी का है तो उसे खोद लें। फ़िर उसमें थोड़ा जल भर दें एवं उस स्थान पर जाकर भगवान सूर्य को अर्घ्य दे सकते हैं। इन विधियों से आप छठ घाट गए बिना ही भगवान सूर्य की उपासना कर पाएंगे।

प्लास्टिक की वस्तुओं का न करें इस्तेमाल :

इस बात का आपको खास ध्यान रखना होगा कि किसी भी चीज को बनवाने में प्लास्टिक के सामान का इस्तेमाल न किया गया हो, या आपने खुद उसे बनाते हुए प्लास्टिक के सामान का इस्तेमाल न किया हो। ऐसे में आपकी पूजा व्यर्थ हो जाएगी।

किस दिन से होगी छठ पर्व की शुरुआत :

दरअसल इस बार महापर्व छठ की शुरुआत 25 अक्टूबर को नहाए-खाए से होने वाली है। 26 अक्टूबर को खरना, 27 अक्टूबर को पहली अर्घ्य और 28 अक्टूबर को पारण रहेगा। 

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