चैंपियंस ट्रॉफी में ग्रुप ए के मैच में सोमवार को ऑस्ट्रेलिया और बांग्लादेश के बीच होने वाली भिड़ंत में दोनों ही टीमों के लिए करो या मरो की स्थिति होगी। बांग्लादेश की टीम अपना पहला मैच इंग्लैंड के खिलाफ 8 विकेट से गंवा चुकी है और ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ हार का मतलब होगा टूर्नामेंट से उसका बाहर होना। वहीं ऑस्ट्रेलिया भी न्यूजीलैंड के खिलाफ अपने पहले मैच में बारिश की वजह से रद्द हुए मैच में एक अंक ही हासिल कर पाई, ऐसे में सेमीफाइनल की उम्मीदों को कायम रखने के लिए उसे बांग्लादेश के खिलाफ हर हाल में जीत हासिल करनी होगी। भले ही इस मैच में ऑस्ट्रेलिया की टीम जीत की प्रबल दावेदार हो लेकिन उसे बांग्लादेश को कमतर आंकने की भूल महंगी पड़ सकती है। न्यूजीलैंड के खिलाफ ऑस्ट्रेलिया गेंदबाजों ने निराशाजनक प्रदर्शन किया और केन विलियम्सन और ल्यूक रोंची ने जीत की प्रबल दावेदार मानी जा रही कंगारू टीम की गेंदबाजी की धज्जियां उड़ा कर रख दीं।
बांग्लादेश के खिलाफ ऑस्ट्रेलिया को अपनी इस कमजोरी से उबरना होगा। हालांकि उसके पास मिशेल स्टार्क, पैट कमिंस और जोश हेजलवुड जैसे बेहतरीन गेंदबाज हैं जो दुनिया की किसी भी टीम पर अंकुश लगा सकते हैं। हेजलवुड ने न्यूजीलैंड के खिलाफ 6 विकेट झटकते हुए अपनी शानदार फॉर्म का सबूत दे दिया था। ऑस्ट्रेलिया के पास डेविड वॉर्नर, ऑरोन फिंच, कप्तान स्टीव स्मिथ, ग्लेन मैक्सवेल जैसे धाकड़ बल्लेबाजों की फौज है और यही ऑस्ट्रेलिया की सबसे बड़ी ताकत है। बांग्लादेश की टीम की ताकत उसकी बल्लेबाजी है और इंग्लैंड के खिलाफ पहले मैच में उसने 300 से ज्यादा का स्कोर खड़ा करके ये बात साबित भी की।
ओपनर तमीम इकबाल ने इंग्लैंड के खिलाफ शतक जड़ा था जबकि मुशफिकुर रहीम ने शानदार अर्धशतक जड़ा था। इन दोनों के अलावा बांग्लादेश के पास सौम्य सरकार, महमदुल्लाह और सब्बीर रहमान जैसे बल्लेबाज और शाकिब अल हसन जैसा बेहतरीन ऑलराउंडर है। लेकिन बांग्लादेश का कमजोर पक्ष गेंदबाजी है। इसी की वजह से इंग्लैंड के खिलाफ 300 रन बनाने के बावजूद बांग्लादेश की टीम को 8 विकेट से हार झेलनी पड़ी। कप्तान मशरफे मुर्तजा के नेतृत्व में मुस्तफिजुर रहमान, रूबेल हसन और शाकिब अल हसन को ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों पर अंकुश लगाना पड़ेगा।