अमेरिका ने सलाहुद्दीन को घोषित किया अंतर्राष्ट्रीय आतंकी, भारत ने किया स्वागत

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व्हाइट हाउस में मोदी-ट्रंप की मुलाकात से ऐन पहले युनाइडेट स्टेट के डिपार्टमेंट ऑफ स्टेट ने सोमवार को आतंकी सरगना व कश्मीरी में सक्रिय आतंकी गुट हिज़बुल मुजाहिद्दीन के मुखिया युसुफ शाह उर्फ सैयद सलाहुद्दीन को अंतर्राष्ट्रीय आतंकी घोषित कर दिया। भारत ने अमेरिका के इस कदम का स्वागत किया है। सलाउद्दीन के खिलाफ उठाए गए इस कदम से पाकिस्‍तान प्रायोजित आतंकवाद के खिलाफ अमेरिका का सीधा व कड़ा रुख सामने आ गया है। मोदी व ट्रम्प के बीच पहली और ऐतिहासिक मुलाकात सोमवार आधी रात के बाद व्हाइट हाउस में हुई। इसमें ट्रम्प की पत्नी मेलानिया भी शरीक हुईं।

दोनों देशों के रिश्तों में यह मुलाकात नया मो़ड़ लाने वाली मानी जा रही है। अमेरिकी विदेश मंत्रालय के बयान के मुताबिक इस घोषणा के बाद किसी भी अमेरिकी नागरिक के सलाहुद्दीन के साथ किसी तरह के लेनदेन पर पाबंदी होगी। इसके साथ ही अमेरिकी न्यायिक क्षेत्र के अंतगर्त आने वाली सलाहुद्दीन की सारी संपत्ति ब्लॉक हो जाएगी।

अमेरिकी विदेश विभाग ने कहा, ‘ हिज़बुल के वरिष्ठ नेता के नाते सितंबर 2016 में सलाउद्दीन ने, जो कि सैयद मोहम्मद युसूफ शाह के रूप में भी जाना जाता है, धमकी दी थी कि वह कश्मीर समस्या का शांतिपूर्ण समाधान नहीं होने देगा। उसने कश्मीरियों को आत्मघाती हमलावर के रूप में और प्रशिक्षण देने और घाटी को भारतीय सेना का कब्रिस्तान बनाने की भी धमकी दी थी।’

उसके सरगना रहते हिज्बुल ने कई हमलों की जिम्मेदारी ली थी। इनमें अप्रैल 2014 का धमाका भी था, जिसमें जम्मू-कश्मीर में 17 लोग घायल हुए थे। सलाउद्दीन 1989 से आतंकी गतिविधियों में लिप्त है। वह अभी हिज़बुल मुजाहिद्दीन का सरगना है। पाकिस्तान में रह कर कश्मीर में आतंकी गतिविधियां चलाता है। बता दें कि हिज्बुल कश्मीर का सबसे बड़ा आतंकी गुट है। 1987 में जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव हारने के बाद वह आतंकी बना। अधिकतर वह पाक कब्जे वाले पाकिस्तान के मुजफ्फराबाद में रहता है।