आखिर अमेरिका ने ईरान को कैसे दिया चकमा, जानिए ऑपरेशन मिडनाइट हैमर की कहानी

अमेरिका ने ईरान की रातों की नींद उड़ा दी वहीं अमेरिका ने ईरान के परमाणु ठिकाने फोर्डो, नतांज और इस्फहान को बर्बाद कर दिया. अमेरिका ने इस मिशन को नाम दिया है ऑपरेशन मिडनाइट हैमर.

आखिर अमेरिका ने ईरान को कैसे दिया चकमा, जानिए ऑपरेशन मिडनाइट हैमर की कहानी

अमेरिका ने ऑपरेशन मिडनाइट हैमर से उड़ाए ईरान के परमाणु ठिकाने

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Highlights

  • ईरान के खिलाफ अमेरिका ने चला ऑपरेशन मिडनाइट हैमर।
  • अमेरिका ने ईरान के परमाणु ठिकानों को बनाया अपना निशाना।
  • ईरान की S-300 एयर डिफेंस B-2 बॉम्बर्स स्टील्थ विमान रडार से बचने में माहिर।

22 जून 2025 की प्रातः विश्व ने एक ऐतिहासिक सैन्य ऑपरेशन के बारे खबर सुनने के लिए मिली है, इसे नाम मिडनाइट हैमर दिया है, इतना ही नहीं इस ऑपरेशन ने ईरान के 3 परमाणु ठिकानों पर अटैक कर दिया है,  इस मिशन में 125 से अधिक विमान, 7 B-2 स्टील्थ बॉम्बर्स एवं  टोमाहॉक मिसाइलों का नाम मौजूद है। अमेरिका ने बड़ी ही अक्लमंदी के साथ  ईरान की रक्षा प्रणालियों को नाकाम कर दिया है, इतना ही नहीं इसके बाद ईरान कोई भी पलटवार नहीं कर सका, वहीं इसकी पूरी कहानी इसमें शामिल हथियारों के बारें है।।।।

ऑपरेशन मिडनाइट हैमर :

खबरों का कहना है कि ऑपरेशन मिडनाइट हैमर आयोजन को पूरी तरह से बर्बाद कर डालना था, इतना ही नहीं ये इजरायल एवं अमेरिका के लिए संकट बनकर सामने आया है, ये मिशन 21 जून 2025 की रात्रि को शुरू होने वाला है, इसे अमेरिका की वायुसेना एवं नौसेना ने इसे मिलकर अंजाम दिया। वहीं इस मिशन की योजना कई माह पूर्व बना ली गई थी।

लेकिन कुछ ऐसे लोग भी है जैसे राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप, रक्षा सचिव पीट हेगसेथ और जॉइंट चीफ्स ऑफ स्टाफ के चेयरमैन जनरल डैन केन को इस बात की सम्पूर्ण जानकारी रही। वक़्त के बारें में बात की जाए तो अटैक 21 जून की सांय 6:40 बजे से 7:05 बजे (अमेरिकी समय) के मध्य हुआ है, जो ईरान में प्रातः 2:10 से 2:35 बजे के मध्य रहा।  जगह के बारें में बात की जाए फोर्डो, नतांज और इस्फहान के परमाणु के ठिकाने कहे जा रहे है। 

अमेरिका ने किस तरह दिया चकमा : 

अमेरिका ने इस ऑपरेशन में कई चतुर रणनीतियों का का उपयोग किया गया, इससे ईरान की रक्षा प्रणालियाँ पूरी तरह से बेकार हो चुकी है, इतना ही नहीं कुछ ही  B-2 बॉम्बर्स को जान कर प्रशांत महासागर की तरफ भेज दिया गया, इतना ही नहीं इन डिकॉय विमानों को गुआम के एंडरसन एयर फोर्स बेस की तरफ भेज दिया गया, खबरों की माने तो इसके बाद ईरान का ध्यान पूर्ण रूप से भटक गया, एक  B-2 विमान (MYTEE 14) को एयर एमर्जेन्सी लैंडिंग करनी पड़ गई। 

अब खबरें आ रही है कि  B-2 बॉम्बर्स ने 18 घंटे की लगातार उड़ान के समय बहुत ही कम संचार किया है, ताकि ईरान के रडार और जासूसी सिस्टम इसे किसी भी तरह से पकड़ न पाए। चौथी एवं पांचवी जेनेरशन के फाइटर जेट्स (जैसे F-22 रैप्टर और F-35 लाइटनिंग II) ने B-2 बॉम्बर्स से आगे की उड़ान भरी, वहीं ईरान की सतह से हवा में वार करने वाली सभी मिसाइलें (SAM ) को पूरी तरह से बेकार कर दिया।    

हैरान कर देने वाली बात तो ये है कि ईरान की S-300 एयर  डिफेंस  B-2 बॉम्बर्स को देख नहीं सकी, एवं ये स्टील्थ विमान रडार से बचने में माहिर है, जनरल डैन केन ने इस बारें में बोला है कि ईरान के फाइटर जेट्स ने उड़ान नहीं भरी। उनकी मिसाइल प्रणालियों ने हमें नहीं देखा। 

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